कोर्ट, कचहरी चले द केस
लुटे के आजादी बा।
लूट लऽ पईसा लूट लऽ देस
लुटे के आजादी बा।
लूटऽ बैंक , भागऽ बिदेश
लुटे के आजादी बा।
ले लऽ करजा, हो जा रेस
लुटे के आजादी बा।
अजब समे, गजब परिवेश
लुटे के आजादी बा।
राकस अदिमी, गउ के भेष
लुटे के आजादी बा।
खादी लोग के देखऽ फेस
लुटे के आजादी बा।
करिया नेता, उजर डरेस
लुटे के आजादी बा।
चलऽता इहे, चली हरमेस
लुटे के आजादी बा।
बनल रहऽ गोबर - गणेश
लुटे के आजादी बा।
अब इहे शेष, इहे विशेष
लुटे के आजादी बा।
'मैकश' बइठ के करऽ गेस
लुटे के आजादी बा।
- मिथिलेश मैकश
छपरा
रउवा सभे के पनरह अगस्त के अनघा बधाई।
जय हिंद। जय भारत। जय भोजपुरी
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